संयुक्त राष्ट्र, छह नवंबर (एपी) : संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने इथियोपिया में तेज होते संघर्ष के प्रसार को रोकने और युद्ध प्रभावित टिगरे क्षेत्र में दुनिया की सबसे बड़ी भुखमरी से निपटने के लिए निर्बाध मानवीय सहायता की अपील की।
संयुक्त राष्ट्र की इस सबसे शक्तिशाली इकाई ने ‘‘देश तथा व्यापक क्षेत्र की स्थिरता’’ पर संघर्ष के प्रभाव पर गंभीर चिंता व्यक्त की, साथ ही सभी पक्षों से ‘‘नफरत फैलाने वाले भाषणों और हिंसा भड़काने वाली गतिविधियों’’ से दूरी बनाने की अपील की।
परिषद के 15 सदस्यों ने उत्तरी टिगरे क्षेत्र में युद्ध की पहली बरसी के अगले दिन एक प्रेस वक्तव्य जारी किया। संघर्ष पर यह परिषद का दूसरा और संघर्ष से बिगड़ती स्थिति को संभालने के लिए पहला बयान था। इस युद्ध में हजारों लोग मारे गए और लाखों लोग विस्थापित हुए हैं।
संयुक्त राष्ट्र के लिए आयरलैंड के राजदूत गेराल्डिन बायने नैसन ने कहा, ‘‘आज सुरक्षा परिषद ने छह महीने की खामोशी तोड़ते हुए एकस्वर में इथियोपिया में गंभीर स्थिति पर बात की है।’’
उन्होंने कहा,‘‘पहली बार, परिषद स्पष्ट रूप से शत्रुता को समाप्त करने का आह्वान करती है। हमारा मानना है कि यह तत्काल होना चाहिए और सभी नागरिकों की रक्षा की जानी चाहिए।’’
इस बयान का मसौदा आयरलैंड, केन्या, नाइजर, ट्यूनीशिया, सेंट विंसेंट और द ग्रेनाडिनेस ने तैयार किया है। इन देशों और अमेरिका ने इथियोपिया के मुद्दे पर शुक्रवार को सुरक्षा परिषद की बैठक की मांग की थी, लेकिन इसे अगले सप्ताह की शुरुआत तक के लिए स्थगित कर दिया गया। राजनयिकों ने कहा कि अफ्रीकी संघ के प्रतिनिधि भाग लेने के लिए मौजूद नहीं थे। इसलिए बैठक में देरी हुई।
गौरतलब है कि इथियोपिया के प्रधानमंत्री एबी अहमद की सरकार और टिगरे नेताओं के बीच महीनों का राजनीतिक तनाव पिछले नवंबर में युद्ध में बदल गया। टिगरे नेताओं का इथियोपिया की सरकार में कभी दबदबा था।
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