• 24 November, 2024
Foreign Affairs, Geopolitics & National Security
MENU

सूडानी राजनीतिक प्रक्रिया सकरात्मक रुख से निर्देशित करने की जरूरत : भारत


मंगल, 18 जनवरी 2022   |   2 मिनट में पढ़ें

संयुक्त राष्ट्र, 18 जनवरी (भाषा) : भारत ने कहा है कि संयुक्त राष्ट्र द्वारा आगे बढ़ाई जा रही अंत: सूडानी राजनीतिक प्रक्रिया सूडानियों के नेतृत्व में और सकारात्मक रुख से निर्देशित होनी चाहिए। इस प्रक्रिया का उद्देश्य सत्ता हस्तांतरण प्रक्रिया को पटरी पर रखना है।

अंतरराष्ट्रीय अपराध अदालत (आईसीसी)द्वारा संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) को सूडान की स्थिति से अवगत कराने के दौरान संयुक्त राष्ट्र स्थित भारत के स्थायी मिशन में काउंसलर प्रतीक माथुर ने रेखांकित किया कि प्रधानमंत्री अब्दुल्ला हमदोक का इस्तीफा दिखाता है कि हस्तांतरण प्रक्रिया में चुनौती विरासत में मिली है।

उन्होंने कहा,‘‘संयुक्त राष्ट्र द्वारा बढ़ाए जा रहे अंत: सूडानी राजनीतिक प्रक्रिया सूडानियों के नेतृत्व में और सकारात्मक रुख से निर्देशित करने की जरूरत है जिसका उद्देश्य स्थिति को संभालना और हस्तांतरण की प्रक्रिया पटरी पर रखना है।’’

माथुर ने कहा कि अगस्त 2019 में हस्ताक्षर किए गए संवैधानिक घोषणा पत्र को इस प्रक्रिया से आगे बढ़ाया जाना चाहिए और सभी हितधारकों को लचीलापन, आपसी विश्वास और समझ दिखाने की जरूरत है।

उन्होंने कहा, ‘‘यह सेना और गैर असैन्य नेतृत्व के लिए अहम है कि वह हस्तांतरण प्रक्रिया पर आगे बढ़ने के लिए सहमति वाले समाधान तक पहुंचे। हस्तांतरण प्रक्रिया न्याय और जवाबदेही जैसे मुद्दों से निपटने के लिए जारी रहनी चाहिए।’’

भारत ने जोर देकर कहा, ‘‘हम सूडान के मौजूदा हस्तांतरण चरण के सफलतापूर्वक संपन्न होने की आशा करते हैं, हमें भरोसा है कि सूडान इन मौजूदा चुनौतियों से निकल जाएगा और शांति और विकास की राह पर आगे बढ़ेगा।’’

संयुक्त राष्ट्र की विज्ञप्ति के मुताबिक सुरक्षा परिषद में आईसीसी की दारफूर पर 34वीं रिपोर्ट पेश करते हुए आईसीसी के अभियोजक करीम खान ने कहा कि सुरक्षा परिषद द्वारा सूडान में दारफूर की स्थिति अंतरराष्ट्रीय अपराध अदालत को भेजे जाने के करीब 20 साल बाद भी अत्याचार के पीड़ित और जिंदा बचे लोग न्याय और जवाबदेही की राह देख रहे हैं।

गौरतलब है कि वर्ष 2003 में सूडान की सरकारी सेनाओं और दारफूर विद्रोह आंदोलन के बीच संघर्ष की शुरुआत हुई। इसमें हजारों लोगों की मौत हुई जबकि कई अन्य विस्थापित हुए। वर्ष 2005 में सुरक्षा परिषद ने कथित नरसंहार और युद्ध अपराध की जांच की जिम्मेदारी आईसीसी को सौंपी।

**************************************




चाणक्य फोरम आपके लिए प्रस्तुत है। हमारे चैनल से जुड़ने के लिए यहां क्लिक करें (@ChanakyaForum) और नई सूचनाओं और लेखों से अपडेट रहें।

जरूरी

हम आपको दुनिया भर से बेहतरीन लेख और अपडेट मुहैया कराने के लिए चौबीस घंटे काम करते हैं। आप निर्बाध पढ़ सकें, यह सुनिश्चित करने के लिए पूरी टीम अथक प्रयास करती है। लेकिन इन सब पर पैसा खर्च होता है। कृपया हमारा समर्थन करें ताकि हम वही करते रहें जो हम सबसे अच्छा करते हैं। पढ़ने का आनंद लें

सहयोग करें
Or
9289230333
Or

POST COMMENTS (0)

Leave a Comment

प्रदर्शित लेख