नयी दिल्ली, नौ नवंबर (भाषा) : राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजित डोभाल ने ताजिकिस्तान और उज्बेकिस्तान के अपने समकक्षों के साथ मंगलवार को द्विपक्षीय वार्ता की जिसमें अफगानिस्तान के घटनाक्रम, अफगान धरती से आतंकवाद के संभावित खतरे और युद्ध से जर्जर देश में मानवीय संकट मुख्य मुद्दा रहा।
आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि डोभाल और उज्बेकिस्तान के सुरक्षा काउंसिल के सचिव विक्टर मख्मुदोव के बीच बातचीत के दौरान दोनों पक्षों को लगा कि अफगानिस्तान के भीतर किसी भी अफगान सरकार को वैधता मिलना, उसे अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मान्यता मिलने से ज्यादा महत्वपूर्ण है।
उन्होंने बताया कि दोनों शीर्ष अधिकारी इस बात पर भी राजी हुए कि पड़ोसी देश अफगानिस्तान में रचनात्मक भूमिका निभाएं और उन्होंने युद्ध से जर्जर देश में दीर्घकालिक आर्थिक विकास की जरुरत पर बल दिया।
मख्मुदोव और ताजिकिस्तान के सुरक्षा परिषद के सचिव नसरुल्लो रहमतजोन महमूदजोदा अफगानिस्तान पर क्षेत्रीय सुरक्षा वार्ता में हिस्सा लेने दिल्ली आए हुए हैं। बुधवार को होने वाली इस वार्ता की अध्यक्षता डोभाल करेंगे।
अफगानिस्तान पर तालिबान के पूर्ण नियंत्रण के बाद वहां से बढ़ रहे आतंकवाद, कट्टरपंथ और मादक पदार्थों की तस्करी के खतरों से निपटने के लिए ठोस सहयोग पर समान विचार बनाने के लक्ष्य से भारत इस वार्ता की मेजबानी कर रहा है।
सूत्रों ने बताया कि द्विपक्षीय बातचीत में डोभाल और महमूदजोदा ने अफगानिस्तान पर विस्तार से एक-दूसरे से विचारों का आदान-प्रदान किया।
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