सियोल, 12 अगस्त (एपी) उत्तर कोरिया ने अमेरिका और दक्षिण कोरिया के बीच सैन्य अभ्यास को आक्रमण का पूर्वाभ्यास बताया और कार्रवाई की धमकी दी, जबकि अमेरिका ने कहा कि यह अभ्यास दक्षिण कोरिया की सुरक्षा के लिए किया गया, और ‘‘पूरी तरह रक्षात्मक था’’।
सरकारी मीडिया द्वारा बुधवार को जारी बयान में बताया गया कि उत्तर कोरिया के वरिष्ठ अधिकारी किम योंग चोल ने संयुक्त अभ्यास जारी रखने के लिए दक्षिण कोरिया की निंदा की और इसके जवाब में ऐसी कार्रवाई करने की धमकी दी, जिससे सियोल को ‘‘एक मिनट में पता चल जाएगा’’ कि वह सुरक्षा संकट के बीच घिर गया है।
इससे पहले, उत्तर कोरिया के नेता की बहन किम यो जोंग ने कहा था, ‘‘यह अभ्यास (उत्तर कोरिया के प्रति) अमेरिका की शत्रुतापूर्ण नीति की सबसे ज्वलंत अभिव्यक्ति है, जिसे हमारे देश को बलपूर्वक दबाने के लिए तैयार किया गया है, और यह आत्म-विनाश का एक अवांछित कार्य है। इसने हमारे लोगों को तथा कोरियाई प्रायद्वीप की स्थिति को और अधिक संकट में डाल दिया है।’’ उन्होंने आगाह किया कि उत्तर कोरिया भी अपनी प्रतिरोधी क्षमता मजबूत करेगा।
हालांकि अमेरिका और दक्षिण कोरिया ने इस बात की पुष्टि नहीं की है कि सैन्य अभ्यास कब आरंभ होगा और न ही उन्होंने इस बारे में कोई विस्तृत जानकारी दी है, लेकिन दक्षिण कोरिया के स्थानीय मीडिया ने खबर दी है कि सहयोगी देश की सेना के साथ 16 से 26 अगस्त तक चलने वाले कंप्यूटर आधारित अभ्यास के पहले, सैन्य अभ्यास शुरू कर दिया गया है।
अमेरिका के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता नेड प्राइस ने वाशिंगटन में संवाददाताओं से कहा कि ये अभ्यास ‘‘पूरी तरह रक्षात्मक प्रकृति’’ के हैं। उन्होंने कहा कि अमेरिका उत्तर कोरिया के प्रति ‘‘कोई शत्रुतापूर्ण इरादा नहीं’’ रखता है। प्राइस ने कहा, ‘‘हम उत्तर कोरिया और दक्षिण कोरिया के बीच वार्ता का समर्थन करते हैं और हम इस दिशा में हमारे (दक्षिण कोरिया) साझेदारों के साथ काम करना जारी रखेंगे।’’
उत्तर कोरिया की, अमेरिका-दक्षिण कोरियाई अभ्यासों के खिलाफ बदले की कार्रवाई की धमकी और उसकी हमलों की क्षमता को एहतियातन बढ़ाना इस बात का संकेत हो सकता है कि वह अपनी हथियार परीक्षण गतिविधियों को फिर से शुरू कर रहा है।
चोल ने कहा कि दक्षिण कोरिया ने ‘‘बाहरी लोगों के साथ गठबंधन करके, तनाव बढ़ाने, संबंधों में सुधार नहीं करने और टकराव ’’ का विकल्प चुनकर संबंध बेहतर करने के अवसर को खो दिया है।
उन्होंने कहा, ‘‘हम उन्हें मिनटों में एहसास करा देंगे कि उन्होंने कितना खतरनाक विकल्प चुना है और गलत चयन के कारण उन्हें कितने गंभीर सुरक्षा संकट का सामना करना पड़ेगा।’’
एपी सिम्मी मनीषा
मनीषा
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